राम नरेश यादव

पूरा नाम: राम नरेश यादव
जन्म: 1 जुलाई 1928, आजमगढ़, उत्तर प्रदेश
मृत्यु: 22 नवंबर 2016, लखनऊ, उत्तर प्रदेश
राजनीतिक दल: भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस

परिचय:

राम नरेश यादव एक वरिष्ठ भारतीय राजनेता थे, जो उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री और मध्य प्रदेश के राज्यपाल के रूप में कार्य कर चुके थे। वे भारतीय राजनीति में किसानों और गरीबों के हितों की रक्षा के लिए जाने जाते थे।

राजनीतिक सफर:

  • 1977 में जनता पार्टी की ओर से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बने।

  • 1985 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में शामिल हुए

  • 1999 में आजमगढ़ से लोकसभा चुनाव लड़ा, लेकिन हार गए

  • 2011 में मध्य प्रदेश के राज्यपाल बने और 2016 तक इस पद पर रहे।

योगदान और उपलब्धियाँ:

  • उत्तर प्रदेश में कृषि और ग्रामीण विकास योजनाओं को बढ़ावा दिया।

  • शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में सुधार किए।

  • जनता पार्टी के शासन में लोकतांत्रिक मूल्यों को मजबूत किया।

निजी जीवन और विवाद:

  • 2013-14 में व्यापमं घोटाले में नाम आने के कारण विवादों में घिरे।

  • 2016 में मध्य प्रदेश के राज्यपाल पद से हटने के बाद राजनीति से दूर हो गए।

निधन:

राम नरेश यादव का निधन 22 नवंबर 2016 को लखनऊ में हुआ। वे एक जमीनी नेता के रूप में हमेशा याद किए जाएंगे।

पार्टी के प्रेरणास्रोत, अविभाजित उत्तर प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री, मध्य प्रदेश एवं छत्तीसगढ़ के महामहिम राज्यपाल, किसान पुत्र रामनरेश यादव जी ने सदैव खेत-खलिहान, झुग्गी-झोपड़ी और वंचित समाज के उत्थान के लिए क्रांतिकारी कदम उठाए। अंत्योदय योजना की शुरुआत कर उन्होंने गाँव-गाँव में क्रांति का वातावरण बनाया और समृद्धिशाली राज्य के निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान दिया।

 

उनके मंत्रिमंडल में स्वर्गीय श्री कल्याण सिंह स्वास्थ्य मंत्री तथा स्वर्गीय श्री मुलायम सिंह यादव सहकारिता मंत्री के रूप में राष्ट्र और समाज की सेवा में समर्पित थे। रामनरेश यादव जी का प्रयास हमेशा समाज के अंतिम व्यक्ति को सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक रूप से इतना सशक्त बनाने का था कि आम आदमी भी आत्मविश्वास और भरोसे के साथ भारतीय राजनीति में आगे बढ़ सके।

 

आम जनता के लिए सुलभ रहने वाले, ईमानदारी और सादगी की प्रतिमूर्ति, करोड़ों दलितों के महानायक स्वर्गीय रामनरेश यादव जी का जीवन सरलता और सहजता से परिपूर्ण था। इतने बड़े पदों पर रहने के बावजूद वे आम जनमानस से घनिष्ठ पारिवारिक संबंध बनाए रखते थे। वे न केवल लोगों से व्यक्तिगत रूप से मिलते थे बल्कि उन्हें फोन कर हालचाल भी पूछते थे। इस आत्मीयता के कारण हर व्यक्ति उन्हें अपना नेता मानता था।

 

उन्होंने एक आदर्श प्रशासनिक व्यवस्था स्थापित की और भ्रष्टाचार मुक्त समाज की नींव रखने में महत्वपूर्ण प्रयास किए। इसी कारण हर भारतीय ने उनके प्रति सम्मान और आदर व्यक्त किया। समाजवादी नेता के रूप में प्रसिद्ध रामनरेश यादव जी ने कभी समय की परवाह नहीं की—चाहे दिन हो या रात, वे समाज के हर वर्ग के लिए समर्पित रहे।

 

उनकी लोकप्रियता का सबसे बड़ा कारण यह था कि उन्होंने हमेशा समान अवसरों की वकालत की और असमानता के खिलाफ संघर्ष किया। वे मानते थे कि जब गाँव समृद्ध होगा, किसान खुशहाल होगा, तो भारत का विकास निश्चित होगा। इसी सोच के साथ उन्होंने अपनी सरकार के कार्यों को गरीबों और वंचितों के उत्थान के लिए समर्पित किया।

 

मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ के राज्यपाल के रूप में उन्होंने नक्सलवाद प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर जमीनी हालात को समझा और नक्सलवाद को समाप्त करने के लिए सुरक्षा एजेंसियों को ठोस निर्देश दिए। उनकी नीतियों के कारण सभी दलों में उनकी लोकप्रियता निरंतर बढ़ती गई, क्योंकि वे दलीय राजनीति से ऊपर उठकर राष्ट्रभावना से जुड़े थे और हर भारतीय को अपना परिवार मानते थे।

 

उनके ऐतिहासिक कार्यों ने उन्हें जन-जन का प्रिय नेता बना दिया। लोग उनके विचारों और सिद्धांतों से प्रभावित होकर उनसे जुड़ना चाहते थे।

 

नारायण परिवार के लाखों-करोड़ों समर्थकों, कार्यकर्ताओं, पदाधिकारियों और सहयोगियों की ओर से उनके श्रीचरणों में शत-शत नमन एवं श्रद्धासुमन अर्पित करते हैं। हम उनके बताए हुए मार्ग पर चलकर राष्ट्र और समाज के विकास के लिए राष्ट्रीय नारायणवादी विकास पार्टी की ओर से संकल्प व्यक्त करते हैं।

जय हिंद! जय भारत! जय नारायण! जय रामनरेश यादव!